छोटी-छोटी बातों पर ध्यान देकर बचा सकते हैं बिजली, पर्यावरण मित्र है सौर ऊर्जा
https://www.jagran.com/bihar/gaya-electricity-can-be-saved-by-paying-attention-to-small-things-solar-energy-is-environment-friendly-20083107.html
गया । छोटी-छोटी बातों पर ध्यान देकर बिजली को बचा सकते हैं। गुड हैबिट्स की तर्ज पर ग्रीन गुड हेबिट्स अपनाना जरूरी है। अनावश्यक रूप से जल रहे बल्ब को बंद करें, इस्तेमाल के बाद मोबाइल चार्जर, लैपटॉप चार्जर का स्वीच बंद रखें। टीवी, पंखा, फ्रीज, कुलर को भी बिना जरूरत के चलाकर नहीं छोड़ें।
सौर ऊर्जा अक्षय ऊर्जा है। इसका विशाल भंडार है। वैकल्पिक ऊर्जा का यह सबसे बेहतरीन साधन है। एक किलोवाट क्षमता का सोलर वाटर पंप लगाने से एक टन कार्बन डाइ ऑक्साइड गैस के उत्सर्जन को कम किया जा सकता है। इन सारी बातों का जिक्र मंगलवार को आयोजित हुए जल-जीवन हरियाली कार्यक्रम के दौरान किया गया। आयुक्त कार्यालय सभागार में जल-जीवन-हरियाली दिवस का आयोजन किया गया। हरियाली अभियान के 11 अवयवों से अवगत कराते हुए क्षेत्रीय विकास पदाधिकारी ने इसकी विशेषता बताई।
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सभी विभाग मिशन मोड में हरियाली योजना को आगे ले जाएंगे
राज्य सरकार के विभिन्न विभागों और विशेषज्ञों के समन्वय से हरियाली को मिशन मोड़ में करवाने का निर्णय लिया गया है। सार्वजनिक जल संचयन संरचनाओं को चिन्हित कर अतिक्रमण मुक्त कराने, उनका जीर्णोद्धार कराने, सार्वजनिक कुओं को चिन्हित कर उनका जीर्णोद्धार कराने, सार्वजनिक कुओं एवं चापाकल किनारे सोख्ता, छोटी-छोटी नदियों, नालों में एवं पहाड़ी क्षेत्रों के जल संग्रहण क्षेत्रों में चेक डैम बनाने के साथ ही वर्षा जल को संरक्षित करने की योजना बनी है। खेती में कम पानी में उन्नत खेती के लिए सूक्ष्म सिंचाई योजना पर जोर दिया जा रहा है। बताया कि ऊर्जा की समस्या के निदान में गैर पारंपरिक ऊर्जा स्रोतों का विकास एक महत्वपूर्ण विकल्प है, जहा बिजली नहीं है। वहा सोलर वाटर पंप का प्रयोग किया जा सकता है। सौर ऊर्जा से वाहन चलाए जा सकते हैं। अंतरिक्ष में उपग्रहों के संचालन के लिए सौर ऊर्जा का प्रयोग किया जाता है। सौर ऊर्जा का प्रयोग रोशनी, खाना बनाने व पानी गर्म करने में किया जाता है। सौर ऊर्जा सस्ती एवं प्रदूषण मुक्त होने के साथ-साथ प्रचुर मात्रा में उपलब्ध है। कार्यक्रम में प्रमंडल कार्यालय के सभी पदाधिकारी, सहायक व कर्मी उपस्थित थे।
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सौर ऊर्जा से 2022 तक 34 सौ 33 मेगावाट बिजली पैदा करने का लक्ष्य
जागरण संवाददाता, गया : गया संग्रहालय में मंगलवार को जल जीवन हरियाली दिवस का आयोजन किया गया। ब्रेडा के सहायक अभियंता योगेश राज शुक्ला ने सौर ऊर्जा को लेकर कहा कि यह अच्छी ऊर्जा है। ब्रेडा द्वारा अक्षय ऊर्जा संसाधनों से वर्ष 2022 तक 3433 मेगावाट बिजली पैदा करने का लक्ष्य है। ब्रेडा सोलर पंप लगाने पर अनुदान दे रहा है।
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हरेक माह के पहले मंगलवार को
होगा हरियाली कार्यक्रम : डीएम
जिला पदाधिकारी ने कहा कि जल-जीवन-हरियाली योजना जलवायु परिवर्तन के समाधान के लिए बनाई गई है। इसमें 11 अवयव हैं। प्रत्येक माह के प्रथम मंगलवार को इसके एक-एक अवयव से लोगों को अवगत कराया जाएगा। पहले दिन सौर ऊर्जा का उपयोग को प्रोत्साहन एवं ऊर्जा की बचत विषय पर परिचर्चा हुई। भविष्य में जल की कमी होगी और पर्यावरण असंतुलित होगा तो बहुत सी समस्याओं का सामना करना होगा। एक ओर बेरोजगारी की समस्या होगी तो दूसरी ओर सुखाड़ की समस्या होगी। वज्रपात एवं लू से मरने वाले की संख्या में वृद्धि होगी। खेतीबारी प्रभावित होगी। लोगों को सांस लेने के लिए सही मात्रा में हवा नहीं मिल पाएगी।
वरीय पुलिस अधीक्षक राजीव मिश्रा ने कहा कि दैनिक जीवन में प्राकृतिक संसाधनों का अधिक से अधिक प्रयोग कर जलवायु परिवर्तन को रोक सकते हैं। अनावश्यक रूप से कागज की बर्बादी को रोककर कर कई वृक्षों को कटने से बचाया जा सकता है। कार्यक्रम में अनेक विभाग के अफसर उपस्थित थे।
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जेपीएन अस्पताल में कर्मियों को
बताए गए सौर ऊर्जा के फायदे
जयप्रकाश नारायण अस्पताल में जल जीवन हरियाली का कार्यक्रम हुआ। अस्पताल उपाधीक्षक डॉ. चंद्रशेखर, होस्पीटल मैनेजर संजय कुमार सक्सेना व अनेक एएनएम, फार्मासिस्ट व दूसरे कर्मियों ने इसमें भाग लिया। कर्मियों को सौर ऊर्जा के महत्व के बारे में बताया गया। घर में किस तरह से बिजली की खपत को कम किया जा सकता है इसके बारे में कई बुरी आदतों में बदलाव लाने के लिए प्रेरित किया गया।